Traffic Rules in Hindi: हमारे प्रतिदिन के जीवन में यातायात के महत्व से आप सभी भली-भांति परिचित है। प्रतिदिन के कार्यों के लिए एक जगह से दूसरी जगह जाने या सामान की आवाजाही के लिए के लिए यातायात एक महत्वपूर्ण साधन है। चूंकि यातायात हमारे रोजमर्रा के जीवन का महत्वपूर्ण भाग है ऐसे में यातायात के सुचारु संचालन के लिए सरकार द्वारा कुछ नियमों को निर्धारित किया गया है।
यातायात के लिए निर्धारित नियमों को ही यातायात के नियम या ट्रैफिक रूल्स कहा जाता है। एक जिम्मेदार नागरिक होने के नाते हम सभी का दायित्व है कि हम सभी यातायात नियमों से भली-भांति परिचित हो और इनका पालन करें।
आज के इस आर्टिकल की सहायता से आपको भारत में यातायात के महत्वपूर्ण नियम के बारे में जानकारी दी जाएगी। इसके माध्यम से आपको सभी महत्वपूर्ण यातायात नियमों, ट्रैफिक सिग्नल के नियम, ट्रैफिक रूल्स की फोटो और अन्य महत्वपूर्ण बिन्दुओं की जानकारी प्रदान की गयी है। इससे न सिर्फ आप महत्वपूर्ण यातायात नियमों का पालन करके एक जिम्मेदार और शिक्षित नागरिक बन सकते है अपितु ड्राइविंग टेस्ट के लिए होने वाली परीक्षा को भी आसानी से क्लियर कर सकते है।
यातायात नियमो का पालन क्यों आवश्यक है?
प्राचीन काल से ही मनुष्य एक स्थान से दूसरे स्थान पर आवागमन और सामान की आवाजाही के लिए यातायात के साधनों का प्रयोग कर रहा है। यातायात के निर्बाध रूप से संचालन करने और सभी की सुविधा को ध्यान में रखते हुये यातायात के नियमों का निर्धारण किया गया है। हालांकि सरकार द्वारा यातायात के लिये ट्रैफिक नियमों का निर्धारण किया गया है। परन्तु अधिकांश नागरिक इन ट्रैफिक नियमों का पालन नहीं करते, नतीजतन हम हर दिन सड़क दुर्घटना में लोगों के हताहत होने की खबरें सुनते है।1
ट्रैफिक नियमों के उल्लंघन से ना सिर्फ आप अपने बल्कि दूसरों के जीवन को भी खतरे में डालते है। इससे दूसरे लोगों के लिए भी मुश्किलें पैदा होती है। यातायात नियमों के उल्लंघन से सड़क दुर्घटना होने की संभावना बढ़ जाती है, साथ ही ट्रैफिक जाम होने से समय की अनावश्यक बर्बादी भी होती है। वहीं यातायात नियमों के पालन से प्रतिदिन होने वाली सड़क दुर्घटनाओं पर लगाम लगेगी।
यातायात नियमों के पालन से न सिर्फ यातायात सुचारु रूप से संचालित होता है अपितु नागरिक अनावश्यक ट्रैफिक के जाम से भी मुक्ति पा सकते है।
हिंदी में ट्रैफिक के नियम
वाहन पार्किंग का रखे विशेष ध्यान
प्रत्येक वाहन चालक को अपने वाहन को वाहन पार्किंग के लिए निर्धारित स्थान पर ही पार्क करना चाहिए। इससे न सिर्फ आपका वाहन सुरक्षित रहेगा अपितु अन्य वाहन चालकों और राहगीरों को भी असुविधा का सामना नहीं करना पड़ेगा। इसके अतिरिक्त देश में यहाँ-वहाँ बिना पार्किंग के कारण खड़े किये गए वाहनों से जाम की समस्या भी उत्पन्न होती है ऐसे में जाम से निजात के लिए भी निर्धारित पार्किंग में वाहन लगाना आवश्यक है।
निर्धारित लेन में ही चलाएँ वाहन
हमें हमेशा अपने निर्धारित लेन में ही वाहन चलाना चाहिए। ऐसे करने से ट्रैफिक का संचालन आसानी से होता है। वही शॉर्टकट या जल्दबाजी के चक्कर में आप अगर अपनी लेन बदलते है तो ना सिर्फ इससे दुर्घटना की संभावना बढ़ जाती है। अपितु दूसरे लोगों को भी नुकसान पहुँच सकता है।
ओवरटेक से बनाएँ दूरी
सड़क पर अकसर हम दूसरे वाहन को जल्दबाजी के चक्कर में ओवरटेक करने के प्रयास करते है। ऐसा करने से दुर्घटना होने की सम्भावना कई गुना बढ़ जाती है। अधिकतर दुपहिया वाहनों की दुर्घटना का कारण अनावश्यक ओवरटेक करना ही है। ऐसे में ओवरटेक से दूरी बनाए रखना ही बेहतर विकल्प है। ओवरटेक हमेशा दायीं ओर से एवं ड्राइवर द्वारा ओवरटेक करने के लिए संकेत देने के पश्चात ही करें।
नो एंट्री का रखे ख़ास ख्याल
जब भी रोड निर्माण, रोड मरम्मत, नाली-निर्माण, पाइपलाइन बिछाना या अन्य प्रकार से निर्माण कार्य चलते है तो ऐसी जगहों पर सम्बंधित विभाग द्वारा नो एंट्री का बोर्ड लगा दिया है। कई लोग इन चेतावनियों के बावजूद भी इन जगहों पर वाहन ले जाते है जोकि खतरनाक हो सकता है ऐसे में नो एंट्री के बोर्ड का खास ख्याल रखे।
सीट बेल्ट, हेलमेट का प्रयोग है जरुरी
वाहन चलाते समय प्रायः हमें सीट बेल्ट या हेलमेट पहनने की सलाह दी जाती है परन्तु इन चेतावनियों के बावजूद भी लोग इन नियमों का पालन नहीं करते है। सीट बेल्ट और हेलमेट वाहन चलाते समय महत्वपूर्ण सुरक्षा उपकरण है और दुर्घटना होने पर चोट लगने की सम्भावना को कई गुना कम कर देते है।
सिर्फ जरुरी होने पर ही बजाएँ हॉर्न
कई लोग वाहन चलाते समय अनावश्यक रूप से हॉर्न बजाते रहते है। इससे न सिर्फ दूसरे वाहन चालकों का ध्यान भंग होता है अपितु वाहन दुर्घटना होने की सम्भावना भी बढ़ जाती है। इसके अतिरिक्त अनावश्यक हॉर्न बजाना ध्वनि प्रदूषण को भी बढ़ावा देता है ऐसे में आपको सिर्फ बहुत अधिक आवश्यकता होने पर ही हॉर्न बजाना चाहिए।
गति पर रखें नियंत्रण
निर्धारित सीमा से अधिक गति का होना ही सड़क दुर्घटना का प्रमुख कारण है। हमारे देश में अधिकांश सड़क दुर्घटनाएँ ओवरस्पीड की वजह से ही होती है। यही कारण है कि गति सीमा से सम्बंधित साइन बोर्ड आपको प्रायः सभी जगहों पर देखने को मिल जायेंगे। ऐसे में जरूरी है हम अपनी वाहन गति हमेशा निर्धारित सीमा में ही रखे और ओवरस्पीड एवं रैश ड्राइविंग से दूर रहे।
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भारत में ट्रैफिक सिग्नल के संकेत
यातायात के सुचारु संचालन एवं सड़क दुर्घटना पर लगाम लगाने के लिए सभी नागरिकों को ट्रैफिक सिग्नल का पालन करना आवश्यक है। ट्रैफिक सिंग्नल में मुख्यतः 3 प्रकार की लाइट्स का प्रयोग किया जाता है जिसके अर्थ निम्न प्रकार से है-
लाल लाइट संकेत
ट्रैफिक लाइट में सबसे ऊपर लाल लाइट होती है। जब भी ट्रैफिक सिंग्नल रेड हो जाता है तो इसका अर्थ है आपको रुक जाना है। रेड लाइट दिखाई देने पर आप निर्धारित लाइन से पूर्व ही रुक जाएँ। रेड लाइट को कभी भी जंप करने की कोशिश नहीं करनी चाहिए।
पीली लाइट संकेत
ट्रैफिक लाइट्स में दूसरे नंबर की लाइट पीली लाइट यानी येलो लाइट होती है। जब भी आपको ट्रैफिक सिंग्नल पर ट्रैफिक येलो लाइट दिखाई दे तो इसका अर्थ है कि आप चलने के लिए तैयार रहे। ग्रीन लाइट आने से पूर्व ट्रैफिक सिंग्नल पर येलो लाइट प्रदर्शित होती है।
हरी लाइट संकेत
ट्रैफिक लाइट्स में ग्रीन लाइट प्रदर्शित होने के अर्थ है कि अब आप चल सकते है। ग्रीन लाइट का अर्थ है कि अब आप आगे जिस दिशा में जाना चाहते थे वहाँ जा सकते है।
भारत में यातायात के चिन्ह
सड़कों के किनारे अक्सर आपने भी विभिन्न प्रकार के यातायात चिन्ह देखे होंगे। इनकी सहायता से आप अनेक प्रकार की जानकारी प्राप्त कर सकते है। इसके अतिरिक्त ड्राइविंग लाइसेंस के टेस्ट के समय ट्रैफिक निशान एवं चिन्ह से सम्बंधित सवालों का जवाब देकर आसानी से ड्राइविंग लाइसेंस भी प्राप्त कर सकते है।2
यातायात चिन्ह (Traffic Signs) | यातायात चिन्ह का नाम | यातायात चिन्ह का अर्थ (Traffic Signs meaning in Hindi) |
नो-पार्किंग साइन (No-parking sign) | इस चिन्ह का अर्थ है की इस जगह पर पार्किंग वर्जित है। | |
यूटर्न निषेध (U Turn Prohibited) | इस चिन्ह का अर्थ यूटर्न निषेध है जिसका अर्थ है की आप सम्बंधित जगह से यूटर्न नहीं ले सकते है। | |
नो लेफ्ट टर्न (No Left Turn Mark) | इस चिन्ह का अर्थ है की आप सम्बंधित जगह से बायीं तरफ नहीं मुड़ सकते है। | |
नो राईट टर्न (No Right Turn Mark) | इस चिन्ह का अर्थ है की आप सम्बंधित जगह से दायीं तरफ नहीं मुड़ सकते है। | |
नो-ओवरटेकिंग (No Overtaking) | यह चिन्ह दर्शाता है कि इस क्षेत्र में ओवरटेकिंग न करें। | |
भारी वाहन वर्जित (Heavy Vehicle Prohibited) | इस चिन्ह का अर्थ है कि इस क्षेत्र में भारी वाहनों का प्रवेश वर्जित किया गया है। | |
साइकिल वर्जित (Cycle- Prohibited) | इस चिन्ह का अर्थ है कि इस क्षेत्र में साइकिल चलाना मना है। | |
नो-हॉर्न (No-Horn) | इस चिन्ह का अर्थ है कि आप इस क्षेत्र में हॉर्न का उपयोग नहीं कर सकते है। | |
खड़ी चढ़ाई (Steep ascent) | इस चिन्ह का अर्थ है कि आगे मार्ग पर खड़ी चढ़ाई है। | |
ढ़लान (Steep descent) | इस चिन्ह का अर्थ है कि आगे मार्ग पर तीव्र ढलान है। | |
स्कूल-साईन बोर्ड (school sign board) | इस चिन्ह का अर्थ है कि आगे स्कूल है इसलिए अपनी गति सीमा नियंत्रित रखे। | |
संकरा पुल (Narrow bridge) | सड़क मार्ग पर संकरा पुल होने पर इस चिन्ह का प्रयोग किया जाता है। | |
संकरी सड़क(Narrow Road) | इस चिन्ह का अर्थ है कि आगे सड़क संकरी है। | |
आगे पत्थर गिरने का भय है (Falling of Rocks) | इस चिन्ह का अर्थ है कि आगे पत्थर गिरने के भय है। पर्वतीय मार्गो पर प्रायः यह चिन्ह दिखाई देता है। | |
आगे फिसलन है (Slippery Road Sign) | पर्वतीय मार्गो पर पाला एवं अन्य कारणों से सड़क पर फिसलन होने के कारण इस चिन्ह का प्रयोग किया जाता है जिसका अर्थ होता है की आगे फिसलन है। | |
पैदल चलना मना है (Pedestrians Prohibited) | इस चिन्ह का अर्थ है कि यहाँ पैदल चलना मना है। | |
तीव्र मोड़ (Hair Pin Turn) | इस चिन्ह का अर्थ है कि आगे तीव्र या अँधा मोड़ है। |
भारत में सड़क सुरक्षा चिन्ह
सड़क सुरक्षा चिन्हों को हम मुख्यतः 3 भागों में बांटते है। अनिवार्य, चेतावनी और संकेत सड़क सुरक्षा चिन्ह। सभी सड़क सुरक्षा चिन्हों का विवरण इस प्रकार से है-
अनिवार्य सड़क सुरक्षा संकेत
सड़क सुरक्षा की दृष्टि से अनिवार्य सड़क सुरक्षा संकेत जिनका पालन करना प्रत्येक नागरिक का अनिवार्य कर्तव्य है, अनिवार्य सड़क सुरक्षा संकेत के अंतर्गत आते है। अनिवार्य सड़क सुरक्षा संकेत रोड सेफ्टी की दृष्टि से अत्यधिक महत्वपूर्ण होते है। प्रमुख अनिवार्य सड़क सुरक्षा संकेत इस प्रकार से है –
अनिवार्य सड़क चेतावनी संकेत
सड़क मार्ग पर चल रहे महत्वपूर्ण कार्य, ढ़लान, डाईवर्जन, निर्माण कार्य, फिसलन, भू स्खलन और पत्थर गिरने का भय जैसे अनिवार्य सड़क चेतावनी संकेत के माध्यम से ड्राइवर मार्ग की स्थिति का पता लगाकर अनिवार्य सुरक्षा का पालन कर सकता है।3 प्रमुख अनिवार्य सड़क चेतावनी संकेत इस प्रकार से है –
अनिवार्य सड़क सूचक संकेत
सड़क मार्ग पर पेट्रोल-पंप, हॉस्पिटल, पब्लिक टेलीफोन बूथ, पार्किंग स्थल और खान पान सम्बंधित सुविधाओं की जानकारी प्रदान करने वाले संकेत अनिवार्य सड़क सूचक संकेत कहलाते है। प्रमुख अनिवार्य सड़क सूचक संकेत इस प्रकार से है –
Traffic Rules in Hindi में अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
यातायात के नियम क्या होते है?
सड़क परिवहन के निर्बाध संचालन के लिए सरकार द्वारा निर्धारित नियमों को ही यातायात नियम कहा जाता है। सड़क सुरक्षा हेतु यातायात के नियमों का पालन करना आवश्यक है।
यातायात के नियमो का पालन करना क्यों आवश्यक है?
सड़क यातायात के निर्बाध आगमन, सड़क दुर्घटनाओं से सुरक्षा और अन्य नागरिकों को सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए हमें यातायात के नियमों का पालन करना आवश्यक है।
ट्रैफिक सिग्नल में लाल लाइट का क्या अर्थ होता है?
ट्रैफिक सिग्नल में लाल लाइट के अर्थ होता है कि आपको वाहन को निर्धारित रेखा में रोक देना है।
येलो लाइट ट्रैफिक सिग्नल में क्या प्रदर्शित करती है?
ट्रैफिक सिग्नल में येलो लाइट चलने के लिए तैयार रहे का अर्थ प्रकट करती है। जैसे ही ट्रैफिक सिग्नल में येलो लाइट ऑन होती है आपको चलने के लिए तैयार हो जाना चाहिए।
ट्रैफिक सिग्नल में ग्रीन लाइट क्या प्रदर्शित करती है?
ट्रैफिक सिग्नल में ग्रीन लाइट चलने का अर्थ प्रकट करती है। इसका अर्थ है कि अब आप आगे बढ़ सकते है।
राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा सप्ताह (National Road Safety Week) कब मनाया जाता है ?
राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा सप्ताह प्रत्येक वर्ष जनवरी माह में 11 जनवरी से लेकर 17 जनवरी तक मनाया जाता है। इस दौरान यातायात नियमों के बारे में जागरूकता के लिए विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है।
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