Nikhat Zareen Indian Boxer: कौन हैं इतिहास रचने वाली निकहत जरीन

आजकल के समय में लड़का और लड़की दोनों ही एक सामान है। और जब-जब लड़कियों को मौका मिलता है वे खुद को साबित करके दिखाती हैं। और पिछला कुछ समय हमारे देश की महिलाओं की उपलब्धियों का वर्ष रहा है। ऐसा ही कुछ कर दिखाया है हमारे देश की Nikhat Zareen ने। जी हाँ भारत की बेटी निकहत ज़रीन ने 52 किलों की केटेगरी में तुर्की के इस्तांबुल में महिला विश्व चैंपियनशिप [World Boxing Championship] में स्वर्ण पदक जीत लिया हैं।इन्होने थाईलैंड की बॉक्सर जुटामास जितपांग को इस मुकाबले में 5-0 देकर एकतरफा मैच जीत लिया समाज की रूढ़ियों को तोड़ते हुए उनके पिता ने जिस तरह अपनी बेटी के सपनों को पंख दिए वह काबिले तारीफ़ है। Nikhat Zareen की इस जीत पीएम मोदी भी खुश हुए और उन्होंने भी Nikhat Zareen को बधाई दी। एक बार फिर निखत ज़रीन ने जीता महिला विश्व मुक्केबाजी चैम्पियनशिप 2023 के 50 किलोग्राम लाइट फ्लाईवेट वर्ग के फाइनल में जीता स्वर्ण पदक।

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Nikhat Zareen Indian Boxer: कौन हैं इतिहास रचने वाली निकहत जरीन
Nikhat Zareen Indian Boxer: कौन हैं इतिहास रचने वाली निकहत जरीन

Nikhat Zareen का शुरूआती जीवन

निकहत ज़रीन का जन्म 14 जून 1996 में तेलंगाना के एक शहर निजामाबाद में हुआ था।उनके पिता का नाम मुहम्मद जमील अहमद है। और उनकी माता का नाम प्रवीण सुल्ताना है। निखत सिर्फ 13 साल की थी जब उन्होंने बॉक्सिंग सीखना शुरू किया। निखत के चाचा शमशामुद्दीन ने ही उन्हें बॉक्सिंग की दुनिया से परिचित करवाया था। शमशामुद्दीन एक बॉक्सिंग कोच हैं। वह अपने बेटों और निखत के चचेरे भाई को ट्रेनिंग देते थे। उन्हें देखते हुए ही निखत ने बॉक्सिंग में रूचि दिखानी शुरू की। उसके उत्साह से प्रभावित होकर उसके चाचा ने उससे भी ट्रेनिंग देनी शुरू कर दिया था।

लेकिन उनकी माँ प्रवीण सुल्ताना अपनी बेटी की बॉक्सिंग में रूचि देखकर खुश न थी। एक मुस्लिम परिवार से होने के कारण तब काम आशंकाएं थी। लेकिन उनके पिता एक खिलाडी होने के कारण उन्हें बॉक्सिंग करने के लिए प्रोत्साहित करते थे। उनकी माँ उस समय थोड़ी चिंतित थी। उनकी माँ बहुत बहुत गंभीर थी की उन्होंने बॉक्सिंग छोड़ दी। शुरूआती दिनों में निखत के लिए पढाई और मुक्केबाज़ी टूर्नामेंट का प्रबंधन थोड़ा मुश्किल था। लेकिन वह भाग्यशाली थी उसे अपने दोस्तों का पूर्ण समर्थन मिला। उसके दोस्त उससे अध्ययन नोट्स के साथ मदद करेंगे। एक बार जब उसने अपनी बोर्ड परीक्षा पास कर्ली और निकहत ने पूरी तरह से अपने बॉक्सिंग करियर पर देना शुरू करदिया था।

निखत ज़रीन का करियर :-

  • सन 2011 में इन्होने विमेंस जूनियर एंड युथ वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड मैडल जीता था। जो की टर्की में हुआ था। उस दिन निखत ने तुर्की की बॉक्सर Ulku Demir को हराकर गोल्ड मैडल प्राप्त किया था।
  • सन 2014 में इन्होने युथ वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में सिल्वर मैडल जीता था जो की बुल्गारिया में हुआ था
  • सन 2014 में रूस में हुए नेशंस कप्स अंतर्राष्ट्रीय बॉक्सिंग टूर्नामेंट में इन्होने Paltceva Ekaterina को हराकर गोल्ड मैडल जीता था।
  • सन 2015 में असम में इन्होने 16th सीनियर वुमन नेशनल बॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड मैडल प्राप्त किया था।
  • 2019 में बैंकाक में हुए थाईलैंड ओपन अंतर्राष्ट्रीय बॉक्सिंग टूर्नामेंट में इन्हे सिल्वर पदक प्राप्त हुआ था।
  • 2019 में बुल्गारिया में हुए स्ट्रेंड्ज मेमोरियल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में इन्होने गोल्ड पदक प्राप्त किया था।
  • 2022 में बुल्गारिया में हुए स्ट्रेंड्ज मेमोरियल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में इन्होने Buse Naz Cakiroglu को हराकर सिल्वर पदक प्राप्त किया था।
  • 2022 में इन्होने तुर्की में हुए वूमेंस वर्ल्ड चैंपियनशिप में इन्होने Jitpong Jutamas को हराकर गोल्ड पदक प्राप्त कर विजेता बन गयी।
  • 2023 : महिला विश्व मुक्केबाजी चैम्पियनशिप 2023 के 50 किलोग्राम लाइट फ्लाईवेट वर्ग के फाइनल में स्वर्ण पदक जीता।
Nikhat Zareen Indian Boxer: कौन हैं इतिहास रचने वाली निकहत जरीन

विवाद से रहा है नाता

निखत ज़रीन हमेशा ही अपने हक़ के लिए लड़ी है। वो अपने करियर एक बार फेडरेशन और अपनी आदर्श मैरीकॉम से भी लड़ चुकी हैं। दरअसल हुआ ये था की बॉक्सिंग फेडरेशन ऑफ़ इंडिया ने 6 बार वर्ल्ड चैंपियन एमसी मैरीकॉम को ओलिंपिक में बिना ट्रायल के ही 51 किलोग्राम भर वर्ग में भारत का प्रतिनिधि बना दिया था। इस दौरान बीएफआई का नियम था की महिला एवं पुरुष दोनों वर्गों में पदक विजेता खिलाड़ियों को ही ओलिंपिक क्वालीफ़ायर में भेजा जाएगा लेकिन ये नियम सिर्फ गोल्ड और सिल्वर मैडल धारकों के लिए था। जिस वजह से ट्रायल में निखत को मैरीकॉम के खिलाफ उतरने भी नहीं दिया था।

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जिसके बाद तत्कालीन समिति के चेयरमैन राजेश भंडारी ने कहा था की निखत को फ्यूचर के लये सेव कर रहे है। जब इस बात की जानकारी निखत को हुई तो निखत ने खेल मंत्री किरण रिजिजू को पत्र लिख दिया और ट्रायल की मांग की जिसके बाद ट्रायल्स हुए थे और उस मैच में मैरीकॉम ने जीत हासिल की थी। इस मैच के बाद मैरीकॉम ने उनसे हाथ भी नहीं मिलाया था।

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Nikhat Zareen Indian Boxer से सम्बंधित कुछ प्रश्न

निखत ज़रीन कौन है ?

निखत ज़रीन महिला बॉक्सिंग वर्ल्ड चैंपियन हैं।

निखत ज़रीन कहाँ की रहने वाली है ?

निखत ज़रीन तेलंगाना के निजामाबाद की रहने वाली हैं।

निखत ज़रीन का जन्म कब हुआ था ?

निखत ज़रीन का जन्म 14 जून 1996 में हुआ था

निखत ज़रीन के माता और पिता का क्या नाम हैं ?

निखत ज़रीन के पिता का नाम मुहम्मद जमील अहमद है और उनकी माता का नाम प्रवीण सुल्ताना हैं।

निखत ज़रीन कौनसी भार केटेगरी में महिला बॉक्सिंग चैंपियनशिप जीती हैं ?

निखत ज़रीन ने 52 किलोग्राम की भार केटेगरी में महिला बॉक्सिंग चैंपियनशिप जीती है।

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