देश में आए दिन कोरोना के नए-नए वेरिएंट आने की खबर सामने आ रही है, जिससे कोरोना के मामलों में तेजी देखी जा रही है, अभी कुछ समय पहले ही ओमीक्रॉन के सब वैरिएंट BA.4, BA.5 के मामले सामने आने के बाद, इस वैरिएंट के संक्रमण को रोकने और इसके सोर्स का पता लगाने के लिए कांटेक्ट ट्रेसिंग बढ़ा दी गई है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की जारी रिपोर्ट में दुनिया में ओमीक्रॉन के सब वैरिएंट BA.4, BA.5 16 देशों में फ़ैल चुका है, वहीं देश में मंगलवार को इसके पहले केस सामने आने की पुष्टि हेल्थ एक्सपर्ट्स द्वारा की गई है। ओमीक्रॉन के सब वैरिएंट के मामलों के बारे में एंटीजीआई के अध्यक्ष डॉ. अरोरा ने बताते हुए कहा की यह केस तमिलनाडु और हैदराबाद में पाए गया है, जिसे लेकर अब संक्रमण को रोकने के लिए कांटेक्ट ट्रेसिंग में तेजी शुरू कर दी गई है।
जाने कोरोना के varrient Omicron BA.4, BA.5 कितना खतरनाक है
- ओमीक्रॉन के सब वैरिएंट BA.4, BA.5 को लेकर विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार दुनिया के इन 16 देशों में सब वैरिएंट BA.4 के 700 से अधिक मामले दर्ज किए गए हैं,
- जबकि BA.5 के कुल 300 से अधिक मामले देखने को मिले हैं, हलाकि यह लक्षण काफी हलके हैं, लेकिन ओमीक्रॉन की तुलना में इसका सब वैरिएंट खासकर BA.4 ज्यादा संक्रामक माना जा रहा है।
- यह मामले अधिकतर उन लोगों में देखने को मिले हैं जो 2 साल से आइसोलेशन में रह रहे हैं, जिस कम करने के लिए अब कांटेक्ट ट्रेसिंग को फिर से बढ़ा दिया गया है।
इन चार लक्षणों से करें इसकी पहचान
कोरोना से संक्रमित व्यक्ति में बुखार, खांसी, सिर दर्द आम बात हैं, लेकिन यदि आपको इन सबसे हटकर यह चार लक्षण अपने शरीर में देखने को मिलते हैं, तो इनमें आपको समय पर डॉक्टर से इलाज करवा लेना चाहिए, जैसे त्वचा का बदलना, आँखों का लाल या गुलाबी होना, भ्रम या बेचैनी होना, गले से संबंधित समस्याएँ यह लक्षण कोरोना के वैरिएंट ओमीक्रॉन से संक्रमित व्यक्ति के शरीर में देखे जा सकते हैं, जिसका सही इलाज बेहद आवश्यक है।
ऐसे करें इस वैरिएंट से बचाव
ओमीक्रॉन के सब वैरिएंट BA.4, BA.5 के लक्षणों से खुद को सुरक्षित रखने के लिए एक्सपर्ट्स द्वारा दी गई सलाह में यह बताया गया है, की इससे बचाव के लिए लोगों को अधिक से अधिक कोविड प्रोटोकॉल्स का पालन करते रहना चाहते, जैसे सार्वजनिक जगहों पर मास्क पहन कर रखे और भीड़ -भाड़ वाले जगहों पर सोशल डिस्टन्सिंग बनाने की कोशिश करें। इसके अल्वा सभी उम्र के लोग जो कोरोना की पहली और दूसरी डोज लगवा चुके हैं उनके लिए बूस्टर डोज लेना बेहद ही जरुरी है, कोरोना की पहली और दूसरी डोज लगवा चुके लोगों के शरीर में इम्युनिटी कम होने से उनमे ओमीक्रॉन के सब वैरिएंट के संक्रमण का ख़तरा बढ़ सकता है, जिससे बचाव के लिए बूस्टर डोज अधिक सुरक्षित हो सकती है।
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